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| Article Name : | | | पं॰ विद्याधर व्यास द्वारा रचित कुछ बंदिशों का विश्लेषण एवं स्वरलिपिकरण | | Author Name : | | | गतिकृष्ण नायक | | Publisher : | | | Ashok Yakkaldevi | | Article Series No. : | | | ROR-10722 | | Article : | |  | Author Profile | | Abstract : | | | ‘संगीत रत्नाकर’ के अनुसार वाणी अथवा काव्य को ‘मातु’ कहा जाता है और गेय अर्थात् स्वर-ताल आदि की योजना को ‘धातु’ कहा जाता है। | | Keywords : | | - पं॰ विद्याधर व्यास,संगीत रत्नाकर,
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